कर में तेरे कमंड़ल, अक्ष माला सोहे मैय्या ।
लाल ध्वजा फहराये…, सबका मन मोहे ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…
पत्र पुष्प फल धूप दीप, नैवेध्य चढ़े भारी ।
जगमग ज्योत आरती…, भक्तन भय हारी ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…
डमरू ढोल नगाड़े, कीर्तन जयकारे मैय्या ।
तीन लोक यश गूंजे…, कष्ट हरो सारे ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…
पुत्र हीन, धन हीन दुःखी, जिस आशा से आवे ।
दयामयी तेरे द्वारे…, वांछित फल पावे ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…
कृपा दृष्टि मुझ पर माँ, तेरी बनी रहे मैय्या ।
तुझे न क्षण भर भूलू…, तू मेरे साथ रहे ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…
सेवा पूजा साधन, कुछ भी नहीं जानू मैय्या ।
करूँ आरती अर्पण…, धन्य भाग माँनू ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…
ॐ जय माँ ब्रह्माणी, जय माँ ब्रह्माणी मैय्या ।
पल्लू धाम विराजत…, सब जन कल्याणी ॥ॐ जय माँ ब्रह्माणी…